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कभी फुर्सत हो तो जगदंबे हिंदी भजन लिरिक्स

कभी फुर्सत हो तो जगदंबे हिंदी भजन लिरिक्स

कभी फुर्सत हो तो जगदंबे, निर्धन के घर भी आ जाना,
जो रुखा सूखा दिया हमें, कभी उसका भोग लगा जाना।

ना क्षत्र बना सका सोने का, ना चुनरी घर मेरे तारों जड़ी,
ना पेड़े बर्फी मेवा है माँ, बस श्रद्धा है नैन बिछाए खड़े,
इस श्रद्धा की रख लो लाज हे माँ, इस विनती को ना ठुकरा जाना,
जो रुखा सूखा दिया हमें, कभी उसका भोग लगा जाना।

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जो खेल गए प्राणों पे श्री राम के लिए हिंदी लिरिक्सतुम्हारी शरण मिल गई सांवरे हिंदी भजन

जिस घर के दीए में तेल नहीं, वहाँ जोत जगाऊं मैं कैसे,
मैं खुद ही बिछौना धरती माँ, तेरी चौकी लगाऊं मैं कैसे,
जहां मैं बैठा वही बैठ के माँ, बच्चों का दिल बहला जाना,
जो रुखा सूखा दिया हमें, कभी उसका भोग लगा जाना।

देना हो तो दीजिये जनम जनम का साथ हिंदी लिरिक्सतेरी माया का ना पाया कोई पार हिंदी भजन लिरिक्स
तेरे रंग में रंगा हर जमाना मिले हिंदी भजन लिरिक्सतेरी गलियों का हूँ आशिक़ तू एक नगीना है हिंदी भजन

तू भाग्य बनाने वाली है, माँ मैं तकदीर का मारा हूं,
हे दाती संभाल भिखारी को, आखिर तेरी आंख का तारा हूं,
मैं दोषी तू निर्दोष है माँ, मेरे दोषों को तू भुला जाना,
जो रुखा सूखा दिया हमें, कभी उसका भोग लगा जाना।

कभी फुर्सत हो तो जगदंबे, निर्धन के घर भी आ जाना,
जो रुखा सूखा दिया हमें, कभी उसका भोग लगा जाना।


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Categories: Maa Bhajan

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