नैनन में श्याम समाए गयो हिंदी भजन लिरिक्स
नैनन में श्याम समाए गयो,
मोहे प्रेम का रोग लगाए गयो।
नैनन में श्याम समाए गयो,
मोहे प्रेम का रोग लगाए गयो।
लुट जाउंगी श्याम तोरी लटकन पे,
मिट जाउंगी लाल तोरी मटकन पे।
मोरे कैल गरारे भाए गयो,
मोहे प्रेम का रोग लगाए गयो।
नैनन में श्याम समाए गयो,
मोहे प्रेम का रोग लगाए गयो ॥
मर जाउंगी कान्हा तोरी अधरन पे,
मर जाउंगी श्याम तेरे नैनन पे,
वो तो तिरछी नज़र चलाए गयो,
मोहे प्रेम का रोग लगाए गयो।
नैनन में श्याम समाए गयो,
मोहे प्रेम का रोग लगाए गयो ॥
बलिहारी कुंवर तोरी अलकन पे,
तेरी बेसर की मोती है छलकन पे ।
ये तो सपने में बतलाय गयो,
मोहे प्रेम का रोग लगाए गयो।
नैनन में श्याम समाए गयो,
मोहे प्रेम का रोग लगाए गयो ॥
पागल को प्यारो है नंदलाला,
दीवाना भए जाके सब ग्वाला
वो तो मधुर मधुर मुस्काये गायो,
मोहे प्रेम का रोग लगाए गयो।
नैनन में श्याम समाए गयो,
मोहे प्रेम का रोग लगाए गयो ॥
नैनन में श्याम समाए गयो,
मोहे प्रेम का रोग लगाए गयो ॥
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